भाप लेने और लंबे समय तक मास्क लगाने से नहीं होता ब्लैक फंगस : जानिए विशेषज्ञ की सलाह

जीवन अनमोल है इसे आत्महत्या कर नष्ट नहीं करें !

हम सब मिलकर ऑक्सीजन,बेड,इंजेक्शन और वेंटीलेटर दिलाएं !

मास्क लगाकर रहें ! सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखें !

संस्कार न्यूज़ राम गोपाल सैनी

नई दिल्ली (संस्कार न्यूज़) इंटरनेट मीडिया पर ब्लैक फंगस, वाइट फंगस, यलो फंगस को लेकर कई तरह की भ्रामक जानकारियां चल रही हैं। जितना खतरनाक बताया जा रहा है ऐसा नहीं है। सतर्कता बरतने से इन फंगस से लड़ा जा सकता है। म्यूकरमाइकोसिस (ब्लैक फंगस) कोरोना से ठीक हो चुके मरीजों में ज्यादा देखा जा रहा है। ब्लैक फंगस कूलर की हवा में नहीं फैलता। यह हवा में, पौधों में, बाथरूम में और हमारे आसपास ही हो सकता है, लेकिन यह एक से दूसरे व्यक्ति को नहीं फैलता है। यह बहुत लोगों के शरीर के ऊपर भी हो सकता है, लेकिन संक्रमण उसी व्यक्ति को करता है, जिसकी प्रतिरोधक क्षमता कम होती है। लोगों को मास्क को बदलते रहना जरूरी है, लेकिन एक ही मास्क लंबे समय तक लगाने से लोगों को म्यूकरमाइकोसिस हो रहा है, यह गलत है।

भाप लेने से नहीं होता है फंगस:


भाप लेने से म्यूकरमाइकोसिस होने का खतरा बढ़ जाता है, ऐसा नहीं है। इंटरनेट मीडिया पर वायरल एक डॉक्टर के इस वीडियो के दावे के सवाल के जवाब में उन्होंने यह बात कही। इस वीडियो में कहा गया था कि लोग ज्यादा भाप ले रहे हैं, इससे नाक के जरिए म्यूकर शरीर में प्रवेश कर रहा है।


कोरोना काल से पहले भी 50 फीसद थी मृत्यु दर: 


ब्लैक फंगस से पीडि़त मरीजों में इस बार मृत्यु दर बढ़ सकती है। कोरोना काल से पहले म्यूकरमाइकोसिस से पीडि़त मरीजों में 50 फीसद तक मृत्यु दर देखी जाती थी, लेकिन इस बार कोरोना संक्रमण की वजह से यह बढ़ सकती है।


शुगर के मरीज ध्यान रखें


इसका संक्रमण उन्हीं लोगों को होता है जो शुगर के मरीज हैं और उनकी प्रतिरोधक क्षमता कम हो गई है। उन्होंने कहा कि ब्लड में शुगर की मात्रा अधिक हो और प्रतिरोधक क्षमता कम हो तो इस फंगस को आपके शरीर में भोजन मिल जाता है। यह हमारे आसपास ही मौजूद रहता है।


बीटाडीन नाक में मत डालें

  • बीटाडीन से गरारा करने की बजाय नाक में इसका इस्तेमाल न करें। यह जानलेवा हो सकता है। कोरोना के मरीजों को बीटाडीन से गरारा करने के लिए कहते हैं, लेकिन इसका यह मतलब नहीं है कि नाक में इसका इस्तेमाल किया जाए।
  • इन बातों का रखें ध्यान
  • शुगर का स्तर नियंत्रित रखें।
  • स्टेरायड का सेवन अ'छे डॉक्टर की सलाह पर ही करें।
  • प्रारंभिक लक्षण होने पर डॉक्टर को दिखाएं।

नाक के जरिए फैलता है संक्रमण

  • यह फंगस नाक के जरिये शरीर में प्रवेश करता है। वहां यह रक्तवाहिनी को बंद करता है।
  • इससे उस क्षेत्र की रक्त की आपूर्ति बंद हो जाती है और नाक में भारीपन लगता है।
  • यह नाक के पास ही साइनस में चला जाता है। साइनस वह खोखला हिस्सा होता है जो गाल के पास होता है।
  • चेहरे के किसी हिस्से में संवेदना कम हो जाना प्रारंभिक लक्षण है।

  • sanskarnews.page @ powerd by "Sanskar Srijan" Hindi News Paper.

    किसी ना किसी रूप में जरूरतमंदों की सेवा कर सकते हैं | पड़ोसी भूखा नहीं सोए इसका ध्यान रखें |

    " संस्कार न्यूज़ " कोरोना योद्धाओं को दिल से धन्यवाद देता है |

    विडियो देखने के लिए -https://www.youtube.com/channel/UCDNuBdPbTqYEOA-jHQPqY0Q 

    अपने आसपास की खबरों , लेखों और विज्ञापन के लिए संपर्क करें - 9214996258, 7014468512,9929701157.

Post a Comment

0 Comments