नगर पालिका बोर्ड की पहली बैठक में राजकीय महिला कॉलेज चोमू का नाम सावित्रीबाई फुले महिला कॉलेज रखने का प्रस्ताव पास

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संस्कार न्यूज़ @ राम गोपाल सैनी 

चौमूं (संस्कार न्यूज़) कन्या महाविद्यालय का नाम बाबा साहब अंबेडकर महिला महाविद्यालय करने में कांग्रेस पार्टी को कोई आपत्ति नहीं है, लेकिन यदि महिला काॅलेज का नाम किसी महिला विभूति के नाम पर हो तो ज्यादा अच्छा है। नगरपालिका चेयरमैन विष्णु सैनी ने सोमवार को आयोजित बोर्ड बैठक में ये बात कही।


 
यूं तो नए बोर्ड की यह पहली बैठक थी, जो कस्बे के विकास के विभिन्न मुद्दों को लेकर रखी गई थी। बैठक में स्थानीय विधायक रामलाल शर्मा, पार्षदगण और प्रशासनिक अधिकारी मौजूद रहे। बैठक में चेयरमैन विष्णु सैनी ने क्षेत्र के राजकीय महिला महाविद्यालय का नाम देश की प्रथम शिक्षिका सावित्रीबाई फुले के नाम पर करने का प्रस्ताव रखा। इस पर सभी पार्षदों ने प्रस्ताव पर जताई |

बाद में विधायक रामलाल शर्मा ने आपत्ति जताते हुए काॅलेज का नाम बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर के नाम पर रखने की बात कही। विधायक ने कहा शिक्षा के क्षेत्र में बाबा साहेब का नाम शिखर पर है, तो काॅलेज का नाम भी उनके नाम पर रखना चाहिए। विधायक ने आरोप लगाते हुए कहा कि कांग्रेसी यह क्यों नहीं कहते कि उन्हें बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर के नाम पर आपत्ति है। इस पर हंगामा हो गया। 

चेयरमैन सैनी ने कहा कि महिला काॅलेज है तो उसका नाम किसी महिला विभूति के नाम पर ही होना चाहिए। सावित्रीबाई फुले ने महिला शिक्षा को बढ़ावा देते हुए लड़कियों के लिए स्कूल स्थापित करवाए। साथ ही समाज में लिंग, जाति के आधार पर शिक्षा का भेद मिटाने में भागीदारी निभाई। विधायक इस बात को नहीं समझकर इस मुद्दे को राजनीतिक रंग दे रहे हैं। वे जबरदस्ती बोर्ड को विवश कर रहे हैं। कि बाबा साहेब का विरोध किया जाए। जबकि कांग्रेस पार्षदों का यह मंतव्य कतई नहीं है कि वे बाबा साहेब का विरोध करें। विधायक को यह शोभा नहीं देता कि एक महापुरुष की आड़ लेकर समाज में वैमनस्यता फैलाएं। बैठक में ऐसा लग रहा था कि बोर्ड बैठक में विधायक पार्षद की भूमिका निभा रहे हैं। 

पार्षद अशोक रच्छौया ने कहा कीविधायक केवल सामाजिक वैमनस्यता बिगाडने का काम कर रहे हैं, इन्हें पता नहीं शायद छत्रपति शाहू जी महाराज से लेकर महात्मा ज्योतिबा फूले ,पेरियार, माँ सावित्री फूले सभी दलित, शोषित तबके के अधिकारों के संरक्षक रहे है | माता सावित्री बाई फूले के नाम का विरोध करना महिला विरोधी मानसिकता को दर्शाता है।


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